महाशिवरात्रि के विभिन्न उपाय
प्रिय पाठकों,
11 मार्च 2021,गुरुवार
मैं पंडित अंजनी कुमार दाधीच आज महाशिवरात्रि के विभिन्न उपाय के बारे में यहाँ जानकारी दे रहा हूँ।
पंडित अंजनी कुमार दाधीच के अनुसार महाशिवरात्रि पर्व पर महादेव की उपासना से व्यक्ति की हर कामना पूर्ण हो सकती है। ऐसा माना जाता है कि इसी दिन भगवान शिव का माता पार्वती से विवाह हुआ था। इस दिन विधीवत से भगवान भोलेे की पूजा की जाए तो सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। सभी प्रकार की समस्या जैसे विवाह की बाधाओं के निवारण, ग्रह जनित पीड़ा और आयु संंबंधित परेशानी के लिए इस दिन शिव जी की उपासना अमोघ अस्त्र साबित होती है। शिवरात्रि का व्रत,उपवास, मंत्रजाप तथा रात्रि जागरण का विशेष महत्व है। महाशिवरात्रि को प्रातः काल स्नान करके शिव पूजा का संकल्प लेने के बाद सूर्य को अर्घ्य देंने के बाद शिव जी को जल अर्पित कर पंचोपचार पूजन के साथ "ओम् नमः शिवाय" मंत्र का जाप करना चाहिए। महाशिवरात्रि के रात्रि में शिव मन्त्रों के अलावा रुद्राष्टक अथवा शिव स्तुति का पाठ भी कर सकते हैं। अगर चार पहर पूजन करते हैं तो पहले पहर में दूध, दूसरे में दही, तीसरे में घी और चौथे में शहद से पूजन करना चाहिए। पंडित अंजनी कुमार दाधीच के अनुसार हर पहर में शुद्ध जल का प्रयोग जरूर करना चाहिए और साथ ही साथ निम्नलिखित उपायों का उपयोग कर जीवन में आ रही समस्याओ का निवारण भी कर सकते है -
❁रोजगार के लिए और मनचाही नौकरी के लिए-महाशिवरात्रि के दिन उपवास रखें और शिवरात्रि के दिन शिवलिंग पर शहद और जलधारा से भगवान शिव का अभिषेक "ओम् नमः शिवाय" मंत्र का जाप करते हुए शिव जी से रोजगार प्राप्ति की प्रार्थना करें। अभिषेक के बाद शिवलिंग पर अनार का फुल चढ़ाएं। महाशिवरात्रि के संध्याकाल में शिव मंदिर में 11 घी के दीपक जलाएं। ऐसा करने से व्यापार में तेजी आएगी और नौकरी संबंधित समस्या का भी अंत होगा।
❁शिक्षा और एकाग्रता के लिए- शिवरात्रि के दिन भगवान शिव का दूध मिश्रित जल का अभिषेक करना चाहिए पर इस बात का ध्यान रखें कि इसकी धारा लगातार शिवलिंग पर गिराते रहें उस समय "ओम् नमः शिवाय" कहते जाएं और शिव लिंग से स्पर्श कराके पांच-मुखी रुद्राक्ष धारण करना चाहिए।
❁संतान के लिए- शिवरात्रि के दिन आटे से 11 शिवलिंग बनाकर 11 बार शुद्ध घी और बाद में जल धारा से इनका जलाभिषेक कर भगवान शिव से संतान प्राप्ति के लिए प्रार्थना करें यह प्रयोग पति पत्नी एक साथ करें तो उत्तम होता है। इस उपाय से संतान प्राप्ति के योग बनते हैं।
❁शीघ्र विवाह के लिए- अगर कोई भी अपनी शादी को लेकर बैचैन हैं तो इस महाशिवरात्रि के दिन भगवान शिव से श्रद्धापूर्वक प्रार्थना करनी चाहिए कि हे भगवान आप मेरी शादी इसी साल में करवा दीजिए। उनसे जिस प्रकार के वर या वधू को आप चाहते हैं आप अपनी शादी को लेकर भगवान शिव से इस महा शिवरात्रि पर अपने मन में प्रार्थना करें। और आपकी शादी शीघ्र ही आपकी मनचाहे जीवन साथी से हो जाएगा।महाशिवरात्रि के दिन जहां माता पार्वती और भगवान शिव की मूर्ति एक साथ हो उस मंदिर में पीले वस्त्र धारण करके शिव मंदिर जाना चाहिए। इसके बाद भगवान शिव के प्रतिक शिव लिंग पर उतने बेलपत्र अर्पित करने चाहिए जितनी उस युवक या युवती की उम्र है हर बिल्व पत्र के साथ " ओम् नम शिवाय" का जाप करते हुए भगवान शिव को अर्पित करे और बाद में माता पार्वती को सुहाग की सामग्री अर्पित कर दोनों की पूजा साथ में करनी चाहिए। इसके बाद मौली को हाथ में लेकर सात बार शिव-पार्वतीजी की परिक्रमा करते हुए सात बार मौली से शिवलिंग और पार्वती जी के बंधन कर देना चाहिए।अंत में भगवान शिव और माता पार्वती से शीघ्र विवाह की प्रार्थना करनी चाहिए इसके बाद वहाँ शिव चालीसा का पाठ करें। यह पुजा महाशिवरात्रि के व्रत के साथ 16 सोमवार तक लगातार करे और व्रत भी करना चाहिए।
❁शीघ्र विवाह के लिए दूसरा उपाय - महाशिवरात्रि की शाम के समय मंदिर में भगवान शिव और माता पार्वती के दर्शन जरूर करना चाहिए और इस बात का ध्यान रखें कि पूजा करते समय आपका मुख पश्चिम दिशा की ओर हो और "ओम् नमः शिवाय" पंचाक्षरी मंत्र का जाप करते हुए शिवलिंग पर जल चढ़ाएं। उसके बाद दूध से भी अभिषेक सवा घंटा तक कर सकें। शिवलिंग की अर्ध परिक्रमा करनी चाहिए और नंदी के कान में शीघ्र विवाह की कामना कहनी चाहिए।
❁महशिवरात्रि के दिन का विवाह के लिए तीसरा उपाय- सूर्योदय से पूर्व नित्य कर्म से निवृत्ति के बाद स्नान करें। स्नान करने के दौरान पानी मे गंगा नदी का जल डाले और भगवान शिव एवं माता पार्वती का ध्यान करें। स्नान के बाद एक साफ तांबे के गिलास या लोटा में सवा पाव कच्चा दूध लेकर उसमें थोड़ी पिसी शक्कर मिलाएं और पूजा का सामान लें। सबसे पहले शिवलिंग को जलाभिषेक कराएं। फिर कच्चे दूध से और उसके बाद दूध में बूरा या मीठा डाल कर स्नान करवाएं। अभिषेक के बाद भगवान शिव को कच्चा सूत रुपी वस्त्र अर्पित करे। इसके बाद उन्हें चंदन का तिलक लगाएं। उनको आक के फूलों की माला समर्पित करें और भगवान शिव को 108 बिल्व पत्र ''ओम् नमः शिवाय" का मंत्र जाप करते हुए अर्पित करे और हर बेलपत्र को अर्पित करते हुये भोलेनाथ से सुयोग्य वर या सुयोग्य पत्नी की कामना करें।
❁आमदनी में वृद्धि हेतु उपाय- शिवरात्रि पर घर में पारद के शिवलिंग या स्फटिक के शिवलिंग की स्थापना योग्य ब्राह्मण से सलाह कर स्थापना कर प्रतिदिन पूजन जल, दूध ,दही, घी, शहद और शक्कर से शिवलिंग का अभिषेक "ओम् नमः शिवाय" मंत्र का जाप करे। प्रति दिन ओम् नमः शिवाय मंत्र का कम से कम 108 बार जाप करने और शिवलिंग पुजा करने से आमदनी में वृद्धि होती हैं।
❁पितृदोष की शांति हेतु उपाय महाशिवरात्रि भगवान शिव के शिवलिंग का पानी में काले तिल मिलाकर 101 बार अभिषेक करें और "ओम् नमः शिवाय" मंत्र का जाप करें। इसके बाद गरीबों और जरूरत मंदो को भोजन कराना चाहिए। इससे घर में कभी अन्न की कमी नहीं होगी और पितरों की आत्मा को शांति मिलेगी और मन को शांति मिलेगी।
❁बिमारी में लाभ के लिए- महाशिवरात्रि पर भगवान शिव का जलाभिषेक रुद्रीपाठ के साथ ही महामृत्युंजय मंत्र जो हैं-
"ओम् हौं जूं सः। ओम् भूरभूव स्वः। ओम् त्रयम्बकं यजामहे सुगंधिं पुष्टिवर्धनम्। उर्व्वारुकमिव बन्धानान्मृत्यो मुक्षीय मामृतात्। ओम् स्वः भुवः भूः ओम्। सः जूं हौं ओम्" का जाप करते रहें। इससे बीमारी ठीक होने में लाभ मिलता है।
❁सुख समृद्धि और परेशानी के अंत के लिए- महाशिवरात्रि पर भगवान शिव का जलाभिषेक करे और उसके बाद भगवान शिव को तिल व जौ चढ़ाएं और 21 बिल्व पत्रों पर चंदन से 'ओम् नम: शिवाय' लिखकर उन्हें शिवलिंग पर चढ़ाएं।इसके बाद किसी नंदी (बैल) को हरा चारा खिलाएं। इससे जीवन में सुख-समृद्धि आएगी और परेशानियों का अंत होगा। ऐसा करने से आपकी धन संबंधी समस्या खत्म होती है और रुके हुए धन की प्राप्ति भी होती है।
❁दुर्भाग्य को सौभाग्य में बदलने के लिए- महाशिवरात्रि पर भगवान शिव का जलाभिषेक करने के बाद अनाथ आश्रम में जाकर फल और खाने की वस्तुओं का वितरण करें और जरूरतमंदों की मदद करने से जीवन में सभी प्रकार की समस्याओं का अंत होगा और भाग्य भी साथ देगा।
❁वैवाहिक जीवन की परेशानी का अंत के लिए- अगर आपके वैवाहिक जीवन में परेशानी चल रही है तो महाशिवरात्रि पर 16 सुहागिन महिलाओं को सुहाग का सामान दें और गरीब और जरूरतमंद महिलाओं की मदद करें। ऐसा करने से आपके वैवाहिक जीवन की समस्याओं का अंत होगा और दाम्पत्य जीवन मधुर हो जाएगा।
❁ग्रह जनित अशुभ परिणाम से बचने के लिए - अगर आपकी जन्मकुंडली में कोई भी ग्रह शुभ परिणाम नहीं दे रहा हैं तो महाशिवरात्रि के दिन शिवलिंग का दुग्धाभिषेक कर विधि-विधान से पूजा करें और "ओम नम: शिवाय" या "महामृत्युंजय मंत्र" का जप करने से कुंडली में मौजूद अशुभ ग्रह शुभ फल देना शुरू कर सकते हैं।
❁मोक्ष प्राप्ति के लिए- महाशिवरात्रि के दिन एक मुखी रूद्राक्ष भगवान शिव के समक्ष रखकर गंगाजल से अभिषेक कर विधी-विधान से पूजा करें और लाल कपड़ा बिछाकर उस पर रूद्राक्ष रख दें। उसके बाद "ओम् नम: शिवाय" मंत्र का एक लाख बार जप करें और हर दिन एक माला का जाप करें। ऐसा करने से मोक्ष की प्राप्ति होती है।
❁स्थायी लक्ष्मी की प्राप्ति के लिए- जो व्यक्ति स्थायी लक्ष्मी पाना चाहते हैं तो महाशिवरात्रि पर शिवलिंग पर चावल चढ़ाने चाहिए।चावल पूरे यानी अखंडित होने चाहिए।
❁लम्बी उम्र के लिए- यदि कुंडली में अल्पायु योग है तो लंबी उम्र के लिए महाशिवरात्रि पर शिवलिंग का अभिषेक दुर्वा रस से महामृत्युंजय मंत्र के साथ करना चाहिए और दूर्वा(दूब) और आक के फुल और धतुरे को भी चढ़ाना चाहिए। इससे शिवजी और गणेशजी की कृपा से आयु में वृद्धि के साथ-साथ सुख-समृद्धि भी बढ़ती हैं।
❁शत्रु पर विजय के लिए - महाशिवरात्रि के दिन मंदिर में शिवलिंग पर दुग्धाभिषेक करें और वहीं रूद्राष्टक का पाठ करें। ऐसा करने से कोई शत्रु परेशान कर रहा है या फिर किसी झूठे मुकदमे में फंसे हैं तो महाशिवरात्रि पर यह विजय दिलाएगा।
❁शिवपुराण के अनुसार बिल्व वृक्ष महादेव का रूप हैं। इसलिए महाशिवरात्रि के दिन बिल्व वृक्ष की पूजा करनी चाहिए और रात्रि में बिल्व वृक्ष के पास दीपक जलाएं। बाद में भगवान शिव की पुजा के लिए बिल्व पत्रो को तोड़ कर ले जाए। फिर शिवलिंग का जलाभिषेक करे। जल चढ़ाते समय शिवलिंग को हथेलियों से रगड़ना चाहिए। महाशिवरात्रि की रात में किसी शिव मंदिर में या बिल्व वृक्ष के पास दीपक जलाएं। शिवपुराण के अनुसार कुबेर देव ने पूर्व जन्म में रात के समय शिवलिंग के नजदीक दीपक जलाकर रोशनी की थी। इसी वजह से अगले जन्म में वे देवताओं के कोषाध्यक्ष बने।
❁शिवरात्रि का महाउपाय- महाशिवरात्रि में शिवजी के समक्ष घी का दीपक जलाएं। इसके बाद उन्हें शमी पत्र अर्पित करना चाहिए। साथ में शिवलिंग के समक्ष रुद्राक्ष की माला या रुद्राक्ष भी रखकर पुजा करनी चाहिए और "ओम् नमः शिवाय" मंत्र का यथाशक्ति जाप करना चाहिए। अपनी मनोकामना के पूर्ण हो जाने की प्रार्थना नंदीश्वर के कान में कहनी चाहिए। इसके बाद उस रुद्राक्ष को गले में धारण कर लें। ऐसा करने से आपकी मन इच्छा जरूर पूरी होगी।
❁कालसर्प दोष की शांति के लिए - महाशिवरात्रि के दिन भगवान शिव के मंदिर में जहाँ शिवलिंग पर सर्प मूर्ति नहीं है वहाँ शिवलिंग पर चांदी से बना कर सर्प मूर्ति बना कर चढाये और बाद में शिव लिंग का पंचामृत से अभिषेक महामृत्युंजय मंत्र के साथ करना चाहिए।
लेखक - Pandit Anjani Kumar Dadhich
पंडित अंजनी कुमार दाधीच
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